15
अगस्त
वार्षिक उत्सव, राष्ट्रीय पर्व,
उमंग व उत्साह का पर्व है ।
शहीदो को नमन का त्यौहार है ।
स्वतन्त्रता दिवस ।
समय का एक चक्र पूर्ण हुआ,
मंजिल आई है,
शुभकामनाएँ-शुभकामनाएँ ।
यह सत्य है कि,
हम हजारों मील चले हैं,
लाखो मील चलना,
अभी शेष है?
भाषण व उद्घोषणा का पर्व नहीं ,
शहीदों के सपने साकार,
करने का दिवस है ।
स्वतन्त्रता दिवस ।
प्रत्येक कार्य मे देश हित
सर्वोपरि अभिलाषा है,
स्वच्छ पर्यावरण अच्छा
है,
बहुत अच्छा है,
विचारों की स्वच्छता भी,
अत्यन्त आवश्यक है ।
बहुत काम अभी शेष है ।
बन्धुओं!
सपनों को सप्राण करने
हेतु
विकास चक्र की गति
बढ़ानी है ।
गति बढ़ाने में अन्तिम
ईकाई
की सेवा का योगदान...
उतना ही महत्वपूर्ण है जितना कि,
प्रथम इकाई के
हस्ताक्षर!
महायज्ञ में जो
उपेक्षित है
उभार दे, प्यार दे, सवाँर दे,
देखो!
सुप्रभात की किरण आई है!
शुभकामनाएँ-शुभकामनाएँ...
अमित
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